अगर आप गोल्ड लोन लेने की सोच रहे हैं तो आपके लिए राहत की खबर है। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा प्रस्तावित कुछ सख्त नियमों से 2 लाख रुपये तक का गोल्ड लोन लेने वाले कर्जदार बाहर हो सकते हैं। ये प्रस्तावित नियम अगले साल से लागू हो सकते हैं, लेकिन उससे पहले वित्त मंत्रालय ने इन नियमों की गहराई से समीक्षा करने की बात कही है और सुझाव दिया है कि छोटे कर्जदारों को इससे छूट दी जाए।
जानकारी के अनुसार, RBI ने बैंकों और गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFCs) को गोल्ड लोन से जुड़े लेनदेन की प्रक्रियाओं में कुछ बदलाव करने का सुझाव दिया है। इन बदलावों का उद्देश्य गोल्ड लोन सिस्टम को और पारदर्शी और सुरक्षित बनाना है। लेकिन वित्त मंत्रालय ने सुझाव दिया है कि 2 लाख रुपये तक का गोल्ड लोन लेने वाले सामान्य कर्जदारों पर ये नियम लागू नहीं होने चाहिए, क्योंकि इस श्रेणी के ग्राहक ज्यादातर आम लोग होते हैं जो आपात स्थिति में गोल्ड गिरवी रखकर छोटा लोन लेते हैं।
नए नियम जनवरी 2026 से लागू किए जा सकते हैं, लेकिन उससे पहले वित्त मंत्रालय ने साफ कहा है कि 75 प्रतिशत से अधिक गिरवी सोने पर कर्ज नहीं दिया जाना चाहिए, यह सीमा पहले से ही लागू है लेकिन अब उसे और प्रभावी किया जा सकता है।
इस प्रस्ताव पर RBI की ओर से भी समीक्षा जारी है और जल्द ही इस पर अंतिम फैसला लिया जा सकता है। यदि वित्त मंत्रालय की सलाह मानी जाती है, तो छोटे गोल्ड लोन लेने वालों को बड़ी राहत मिल सकती है क्योंकि उन्हें दस्तावेजी प्रक्रियाओं और सख्त जांच से गुजरने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
सरकार चाहती है कि आम जनता को आर्थिक सुविधाओं से वंचित न किया जाए और इसलिए वह यह सुनिश्चित करना चाहती है कि जिन लोगों की आवश्यकता छोटी है, उन्हें इन नियमों से बाहर रखा जाए। इससे ग्रामीण और अर्धशहरी इलाकों के वे लोग लाभान्वित हो सकते हैं जो अचानक जरूरत में गोल्ड लोन लेते हैं।